संचार नाउ। ग्रेटर नोएडा। आपदा प्रबंधन को लेकर ग्रेटर नोएडा प्रशासन की तैयारी को परखने के लिए गुरुवार को शहर के पांच प्रमुख स्थानों पर भूकंप एवं औद्योगिक आपदा से निपटने हेतु मॉक ड्रिल आयोजित की गई। यह अभ्यास प्रातः 9:00 बजे से एक साथ शुरू हुआ, जिसमें कई विभागों और संस्थानों की सक्रिय भागीदारी रही।
दरअसल, इस तरह की मॉक ड्रिल न सिर्फ आपातकालीन तैयारियों को मजबूत करती हैं, बल्कि यह सुनिश्चित करती हैं कि किसी भी आपदा के समय जन और धन की क्षति को न्यूनतम किया जा सके। ग्रेटर नोएडा प्रशासन की यह पहल आपदा प्रबंधन में गतिशीलता और संवेदनशीलता का उदाहरण बनी है।
प्रमुख केंद्रों पर हुआ आयोजन
मॉक ड्रिल का मुख्य कार्यक्रम आयुर्विज्ञान संस्थान (जिम्स) और एलजी इलेक्ट्रॉनिक्स इंडिया प्राइवेट लिमिटेड में आयोजित किया गया। वहीं, सावित्रीबाई फुले बालिका इंटर कॉलेज, डब्ल्यूएचओ टाउनशिप गुरजिंदर विहार और विकास भवन सूरजपुर में भी समानांतर मॉक ड्रिल का आयोजन किया गया।
आपदा से पहले की तैयारी का व्यावहारिक प्रदर्शन
इस मॉक ड्रिल के माध्यम से भूकंप, आगजनी, औद्योगिक रिसाव जैसी आकस्मिक स्थितियों में प्रशासनिक तंत्र, चिकित्सा इकाइयों, सुरक्षा बलों और आम नागरिकों की तत्परता को परखा गया। हर स्थल पर राहत और बचाव की कार्यप्रणाली का व्यावहारिक प्रदर्शन किया गया।
प्रशासन ने मानी ड्रिल की सफलता
एडीएम अतुल कुमार ने जानकारी देते हुए बताया कि आज पांच अलग-अलग स्थानों पर आयोजित मॉक ड्रिल सफल रही। यह अभ्यास आपदा की स्थिति में त्वरित प्रतिक्रिया और प्रबंधन को बेहतर करने की दिशा में एक सार्थक प्रयास है। भविष्य में अगर कोई वास्तविक आपदा आती है, तो हमारी तैयारी पहले से कहीं अधिक संगठित होगी।
लोगों में जागरूकता और आत्मविश्वास का संचार
इस मॉक ड्रिल ने न केवल आपदा प्रबंधन तंत्र की समीक्षा का अवसर दिया, बल्कि स्थानीय नागरिकों, छात्र-छात्राओं और औद्योगिक कर्मियों में भी जागरूकता और आत्मविश्वास बढ़ाया। सभी केंद्रों पर लोगों ने सुरक्षा उपायों को गंभीरता से समझा और अभ्यास में सक्रिय भूमिका निभाई।