अयोध्या मेडिकल कॉलेज के स्टूडेंट्स को कॉलेज कैंपस में गलती करने पर अब उन्हें कॉलेज प्रशासन से दंड नहीं दिया जाएगा, बल्कि उनको इस के बदले में अपनी कॉपी में राम नाम लिखना होगा. अयोध्या के राजर्षि दशरथ मेडिकल कॉलेज के प्रधानाचार्य ने मेडिकल कॉलेज के सभी छात्र छात्राओं को ये आदेश जारी किया है. आइए जानते हैं कि इस आदेश के पीछे काॅलेज का क्या उद्देश्य है.

मेडिकल कॉलेज के प्रधानाचार्य डॉ. सत्यजीत वर्मा ने बताया है कि कई बार ऐसा देखा गया है कि छात्र छात्राओं को अनुशासन हीनता के लिए कठोर दंड देने से छात्र छात्राओं के जीवन और मानसिक स्थिति पर उसका गलत प्रभाव पड़ता है. वहीं कई बार ऐसा भी होता है कि वह इस दंड के बाद अपने स्वाभाविक आचरण से विमुख भी हो जाते है.
ऐसे में शिक्षा के दौरान उनके मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य पर कोई गलत प्रभाव न पड़े और वह इस दंड से अपने अपने संस्कार और संस्कृत के करीब भी आएंगे. उन्होंने कहा कि ये कोई परंपरा नहीं शुरू की गई बल्कि एक दो कर्मचारी और छात्रों को गलती के बाद मैंने ऐसा बोला था, लेकिन फिर उनको इसमें रुचि आने लगी जिसके बाद अब तक चार से पांच छात्रों ने राम नाम लिखकर कॉपियां दी है.
उन्होंने कहा कि इसमें कोई धर्म की बाधा नहीं है, जो जिस धर्म का है. उस धर्म का अनुसरण कर इसको लिख सकता है. कोई राम नाम लिख सकता है कोई राधा नाम भी लिख सकता है. कलयुग में नाम जप की ही महिमा है. डॉ. सत्य जीत प्राचार्य राजश्री दशरथ कॉलेज अयोध्या के अनुसार अब से मेडिकल कॉलेज में अगर कोई भी छात्र- छात्रा किसी भी प्रकार की अनुशासन हीनता करते हैं तो उन्हें अपने कॉपी में राम नाम लिखने का दंड दिया जाएगा.
किन कोर्स की होती है पढ़ाई?
राजर्षि दशरथ मेडिकल कॉलेज में केवल दो कोर्स उपलब्ध हैं. एमबीबीएस और ऑपरेशन थियेटर टेक्नोलॉजी (OTT) में डिप्लोमा. एमबीबीएस कोर्स में दाखिला नीट यूजी स्कोर और रैंक के जरिए काउंसलिंग के माध्यम से मिलता है. कोर्स और एडमिशन संबंधी अधिक जानकारी के लिए छात्र काॅलेज की आधिकारिक वेबसाइट पर विजिट कर सकते हैं.













