दिल्ली बम धमाकों की साजिश में गिरफ्तार डॉ. शाहीन और पूछताछ में शामिल किए गए डॉ. मोहम्मद आरिफ मीर के बाद अब IIT कानपुर से बड़ी खबर सामने आई है।

संस्थान में शोध कर रहे कश्मीरी मूल के दो रिसर्च स्कॉलर्स के लापता होने की सूचना मिलने के बाद खुफिया एजेंसियां अलर्ट हो गई हैं। जांच टीमें उनकी लोकेशन ट्रेस करने में जुटी हैं, हालांकि IIT प्रशासन ने ऐसे किसी लापता शोधार्थी की जानकारी से इंकार किया है।
डॉ. शाहीन और डॉ. आरिफ मीर से मिली कड़ी
दिल्ली धमाके की आरोपी और जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज में आठ साल तक फार्माकोलॉजी की प्रवक्ता रही डॉ. शाहीन की गिरफ्तारी के बाद से खुफिया एजेंसियां लगातार उसके नेटवर्क की जांच कर रही हैं। इसी कड़ी में 12 नवंबर को लक्ष्मीपत सिंहानिया हृदय रोग संस्थान (कार्डियोलॉजी) के डॉ. मोहम्मद आरिफ मीर को पूछताछ के लिए उठाया गया था। दोनों के संपर्कों और करीबी लोगों के बारे में एजेंसियां गहराई से जांच कर रही हैं।
IIT के दो शोधार्थी नहीं मिल रहे
हाल ही में शहर के सभी बड़े शिक्षण संस्थानों से कश्मीरी मूल के छात्रों का पूरा डेटा मांगा गया था। इसी दौरान इनपुट मिला कि IIT कानपुर के दो कश्मीरी मूल के शोधार्थी कई दिनों से लापता हैं। एक छात्र 18 अक्टूबर से गायब है। दूसरे शोधार्थी का पता 10 नवंबर के बाद से नहीं चल रहा। दोनों की मौजूदगी का कोई स्पष्ट सुराग नहीं मिला है, जिससे सुरक्षा एजेंसियां चिंतित हैं।
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि इनपुट मिलते ही जांच टीमें सक्रिय हुईं और IIT प्रबंधन से भी जानकारी ली गई है। फिलहाल एजेंसियां दोनों शोधार्थियों की लोकेशन और गतिविधियों का डिजिटल ट्रेल खंगाल रही हैं।
कानपुर में 100 से ज्यादा कश्मीरी मूल के छात्र
सुरक्षा एजेंसियों के अनुसार, कानपुर में वर्तमान में 100 से अधिक कश्मीरी मूल के छात्र-छात्राएं पढ़ाई कर रहे हैं। हाल ही में मिले आंकड़ों के अनुसार, HBTU में 52, कार्डियोलॉजी में 7, GSVM में 4, CSJMU में 3, इसके अलावा IIT और अन्य संस्थानों में 30–35 छात्र पढ़ रहे हैं।
दो शोधार्थियों के लापता होने की खबर ने खुफिया एजेंसियों की चिंता बढ़ा दी है, खासकर जब दिल्ली धमाकों की साजिश को लेकर जांच पहले से ही तेज है।













