उत्तर प्रदेश की योगी सरकार प्रदेश के पावरलूम बुनकरों के लिए एक नई कल्याणकारी योजना शुरू करने की तैयारी में है। यह योजना किसान सम्मान निधि की तर्ज पर लागू की जाएगी, जिसके तहत पंजीकृत पावरलूम बुनकरों को हर तीन महीने में सीधे उनके बैंक खाते में आर्थिक सहायता दी जाएगी। योजना को धरातल पर उतारने के लिए प्रदेशभर में घर-घर सर्वे कराया जा रहा है।

डोर-टू-डोर सर्वे के माध्यम से जुटाया जा रहा डाटा
हथकरघा विभाग की टीमें इन दिनों बुनकरों के घर जाकर सर्वे कर रही हैं। सर्वे के दौरान बुनकरों से बैंक खाता संख्या, आईएफएससी कोड और मोबाइल नंबर की जानकारी ली जा रही है। जिन बुनकरों के बैंक खाते नहीं हैं, उन्हें शीघ्र खाता खुलवाने के निर्देश दिए जा रहे हैं, ताकि भविष्य में सहायता राशि के भुगतान में किसी तरह की परेशानी न हो।
पूर्वांचल के जिलों में सबसे अधिक बुनकर आबादी
प्रदेश के पूर्वांचल क्षेत्र में पावरलूम बुनकरों की बड़ी संख्या निवास करती है। वाराणसी, आजमगढ़, मऊ और गाजीपुर जैसे जिलों में हजारों परिवार बुनकरी पर निर्भर हैं। इन बुनकरों की आर्थिक स्थिति को मजबूत करने और उनके पारंपरिक उद्योग को संबल देने के उद्देश्य से सरकार इस नई योजना को लागू करने की दिशा में आगे बढ़ रही है।
डीबीटी के माध्यम से सीधे खाते में पहुंचेगी राशि
प्रस्तावित योजना के अंतर्गत पंजीकृत पावरलूम बुनकरों को तिमाही आधार पर एक निश्चित धनराशि दी जाएगी। यह राशि डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (डीबीटी) के माध्यम से सीधे उनके बैंक खातों में भेजी जाएगी। इससे पारदर्शिता बनी रहेगी और बिचौलियों की भूमिका पूरी तरह समाप्त होगी।
आजमगढ़ मंडल में सर्वाधिक पावरलूम कनेक्शन
प्रदेश में सबसे अधिक पावरलूम कनेक्शन आजमगढ़ मंडल में हैं। बुनकर बिजली कनेक्शन लेकर पावरलूम मशीनों के माध्यम से साड़ी और अन्य वस्त्रों की बुनाई करते हैं। आंकड़ों के अनुसार मऊ जिले में लगभग 32 हजार पावरलूम कनेक्शन हैं, आजमगढ़ जिले में करीब छह हजार और गाजीपुर जिले में लगभग एक हजार पावरलूम कनेक्शन संचालित हैं।
31 जनवरी तक शासन को भेजा जाएगा बुनकरों का विवरण
हथकरघा विभाग द्वारा बुनकरों का पूरा डाटा 31 जनवरी तक शासन को भेजा जाना है। इसके लिए विभागीय कर्मचारी तेजी से काम कर रहे हैं। आजमगढ़ मंडल सहित पूरे पूर्वांचल से पावरलूम बुनकरों का विवरण एकत्र किया जा रहा है। अब तक लगभग 250 बुनकरों का डाटा संकलित किया जा चुका है।
सरकारी निर्देशों पर तेजी से काम कर रहा विभाग
हथकरघा एवं वस्त्र उद्योग के सहायक आयुक्त अरविंद कुमार सिंह ने बताया कि शासन के निर्देश पर पावरलूम बुनकरों का डाटा इकट्ठा किया जा रहा है। सरकार की मंशा है कि किसान सम्मान निधि की तरह बुनकरों को भी नियमित तिमाही आर्थिक सहायता दी जाए। इसके लिए विभागीय कर्मचारियों को विशेष रूप से लगाया गया है।
बुनकरों को मिलेगी आर्थिक मजबूती और उद्योग को नई ऊर्जा
यह योजना लागू होने के बाद बुनकरों को न केवल आर्थिक राहत मिलेगी, बल्कि पावरलूम उद्योग को भी नई स्थिरता और ऊर्जा प्राप्त होगी। सरकार का मानना है कि इस पहल से बुनकर अपने व्यवसाय को मजबूत कर सकेंगे और पारंपरिक वस्त्र उद्योग को आगे बढ़ाने में सहायता मिलेगी।



