ग्रेटर नोएडा । गौतमबुद्ध नगर में बिल्डर्स द्वारा ओसी (ऑक्यूपेंसी सर्टिफिकेट) और सीसी (कम्पलीशन सर्टिफिकेट) प्राप्त फ्लैट्स की रजिस्ट्री न कराए जाने को लेकर प्रशासन ने सख्त रुख अपना लिया है।
इस संबंध में सहायक आयुक्त स्टाम्प-प्रथम एवं सहायक महानिरीक्षक निबंधन, बीएस. वर्मा द्वारा सभी संबंधित बिल्डर्स को नोटिस जारी करते हुए 15 मई को 1 बजे कलेक्ट्रेट सभागार, सूरजपुर, ग्रेटर नोएडा में अनिवार्य रूप से बैठक में उपस्थित होने के निर्देश दिए गए हैं।
बैठक की अध्यक्षता स्वयं जिलाधिकारी करेंगे। यह कार्रवाई उत्तर प्रदेश शासन द्वारा 15 सितंबर 2022 को आयोजित समीक्षा बैठक के निर्देशों के क्रम में की जा रही है। उस बैठक में यह निर्देश दिए गए थे कि जिन मामलों में बिल्डर्स ने फ्लैट का कब्जा दे दिया है, परंतु अब तक रजिस्ट्री (सब-लीज डीड) नहीं कराई गई है, उन पर सख्त कार्रवाई की जाए। साथ ही, पंजीकरण कराने से संबंधित लाभ और न कराने की हानि का उल्लेख करते हुए बिल्डर्स को नोटिस भी भेजा जाए।
प्रशासन की ओर से कई बार बिल्डर्स को नोटिस भेजे गए, परंतु अधिकांश बिल्डर्स ने न तो संतोषजनक जवाब दिया और न ही रजिस्ट्री की दिशा में कोई ठोस कदम उठाया। इसके चलते फ्लैट खरीदारों को कानूनी अधिकार नहीं मिल पा रहे हैं, जिससे वे विभिन्न सरकारी योजनाओं, ऋण सुविधाओं और अन्य लाभों से वंचित हैं।
खरीदारों की लगातार मिल रही शिकायतों को देखते हुए, पूर्व में भी कलेक्ट्रेट सभागार में जिलाधिकारी की अध्यक्षता में एक बैठक आयोजित की गई थी, जिसमें प्राधिकरण, स्टाम्प एवं रजिस्ट्रेशन विभाग, बिल्डर्स और आवंटी शामिल हुए थे।
बैठक में स्पष्ट निर्देश दिए गए थे कि जिन प्रोजेक्ट्स को ओसी और सीसी मिल चुके हैं, उनमें एक माह के भीतर रजिस्ट्री कराना अनिवार्य है। हालांकि, 9 मई तक भी इस दिशा में कोई अपेक्षित प्रगति नहीं हुई है, जिससे शासन-प्रशासन की छवि पर भी असर पड़ रहा है। अब एक बार फिर 15 मई को प्रस्तावित बैठक में अनुपस्थित रहने या असहयोगात्मक रवैया अपनाने वाले बिल्डर्स के खिलाफ प्रशासन ने नियमानुसार कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी है।