नोएडा के सेक्टर-70 में इंटरनेशनल पुलिस एंड क्राइम इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो के नाम से फर्जी थाना खोलकर लोगों को ठगने वाले गिरोह के तार अंतरराष्ट्रीय हवाला नेटवर्क से जुड़े पाए गए हैं. आरोपियों ने कनाडा में रहने वाले एक पंजाबी मूल के भारतीय को केंद्रीय एजेंसी का डर दिखाकर करीब 18 लाख रुपये ठग लिए थे. रुपये हवाला के जरिये भारत मंगवाए गए. पुलिस मामले में जल्द ही कोर्ट में चार्जशीट दाखिल करने की तैयारी में है.

ढाई महीने पहले हुआ था पर्दाफाश
करीब ढाई महीने पहले 10 अगस्त को फेज-तीन थाना पुलिस ने सेक्टर-70 में छापा मारकर इस गिरोह का भंडाफोड़ किया था. कार्रवाई में गिरोह के सरगना बिभाष चंद्र अधिकारी और उसके बेटे अराग्य अधिकारी समेत कुल 6 लोगों को गिरफ्तार किया गया. इसके अलावा बाबूल चंद्र मंडल, पिंटू पाल, समपद मल और आशीष कुमार को पकड़ा गया था. सभी आरोपी पश्चिम बंगाल के रहने वाले हैं.
पुलिस जैसी वर्दी, फर्जी बोर्ड और ऑफिस
आरोपियों ने सेक्टर-70 के सी ब्लॉक में एक घर किराए पर लेकर उसे अंदर से थाने जैसा बना रखा था. दीवारों पर पुलिस जैसी रंग-रोगन, इंटरपोल, सीबीआई, यूरेशियन पुलिस और ईडी जैसी एजेंसियों के नामों का इस्तेमाल कर फर्जी बोर्ड लगाए गए थे. यही नहीं आरोपियों ने खुद को लोकसेवक बताकर लोगों को भ्रमित किया और सामाजिक मंत्रालयों के फर्जी दस्तावेज भी दिखाए.
वेबसाइट और दान के नाम पर वसूली
गिरोह ने खुद की वेबसाइट भी बना रखी थी जिसमें राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय एजेंसियों से जुड़ा होने के फर्जी प्रमाणपत्र प्रदर्शित किए गए थे. यह लोग ‘सेवा’ और ‘मदद’ के नाम पर आम लोगों से दान की रकम भी वसूलते थे.
कोलकाता में भी चला रहे थे ऑफिस
पुलिस जांच में पता चला कि नोएडा आने से पहले आरोपियों ने कोलकाता और बीरभूम में भी इसी तरह के फर्जी ऑफिस खोल रखे थे. नोएडा से गिरफ्तारी के बाद पुलिस की टीम कोलकाता पहुंची जहां अहम सबूत मिले है.
केंद्रीय एजेंसी के नाम पर भेजते थे फर्जी नोटिस
पुलिस को मिले साक्ष्यों के अनुसार आरोपियों ने कनाडा में रहने वाले एक भारतीय मूल के व्यक्ति को विभिन्न ईमेल व नोटिस भेजकर खुद को केंद्रीय एजेंसी का अधिकारी बताया. भारत आने का दबाव बनाया गया और डर का माहौल बनाकर व्यक्ति से 18 लाख रुपये अलग-अलग बैंक खातों में ट्रांसफर करवा लिए गए. इसके बाद यह राशि हवाला नेटवर्क के जरिए भारत मंगवाई गई.