देहरादून में हाल ही में बादल फटने की घटना ने उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले के कई परिवारों को गहरे दुख में डाल दिया है। मीरपुर थाना फतेहपुर और आसपास के गांवों के 6 मजदूर इस हादसे के बाद से लापता हैं। तीन दिन (60 घंटे) से ज्यादा का वक्त बीत चुका है, लेकिन अभी तक इन मजदूरों का कोई सुराग नहीं मिला है।
लापता मजदूरों के नाम और जानकारी:
मिथुन (32 वर्ष) – मीरपुर गांव के रहने वाले।
श्यामलाल (65 वर्ष) – मिथुन के पिता।
धर्मेंद्र (42 वर्ष) – मीरपुर के रहने वाले।
विकास (26 वर्ष) – पहली बार मजदूरी के लिए घर से बाहर गया था।
इसके अलावा और दो अन्य मजदूरों के नाम अभी सामने नहीं आ सके हैं। ये सभी मजदूरी के लिए देहरादून गए थे। बादल फटने की घटना के बाद से इनका कुछ पता नहीं चल सका है।
मिथुन और श्यामलाल: पिता-पुत्र की एक साथ गुमशुदगी
मिथुन और श्यामलाल दोनों एक साथ मजदूरी के लिए गए थे। हादसे के बाद से इनके घर पर मातम पसरा है। मिथुन की पत्नी कविता अब अपनी पांच बेटियों के साथ बेसहारा हो गई हैं। बड़ी बेटी की उम्र 15 साल है, छोटी बेटी सिर्फ डेढ़ साल की है। बच्चियां लगातार अपने पापा और दादा के लौटने का इंतजार कर रही हैं, लेकिन किसी के पास कोई जवाब नहीं है।
विकास की बहन बोली – ‘भाई ने लौटने का किया था वादा’
विकास की बहन आरती ने बताया कि उनका भाई पहली बार मजदूरी करने बाहर गया था। जाते समय उसने भरोसा दिया था कि वह जल्दी लौट आएगा। लेकिन अब तक कोई खबर नहीं है।
धर्मेंद्र ने पत्नी को बताया था – ‘बाहर बहुत पानी है, खतरा है’
धर्मेंद्र ने हादसे वाली रात अपनी पत्नी बबिता को फोन पर बताया था कि बाहर बहुत पानी भर गया है और स्थिति खतरनाक है। उसी रात बादल फटने की घटना हुई और तब से उनका भी कोई पता नहीं चला।
गांव में मातम, परिजन देहरादून में कर रहे तलाश
हादसे को तीन दिन से ज्यादा हो चुके हैं। गांव में सन्नाटा और गम का माहौल है। परिवार वाले और गांव के लोग देहरादून जाकर अपनों की तलाश में जुटे हैं। प्रशासन और राहत बचाव टीमें मौके पर लगी हैं, लेकिन अब तक कोई ठोस जानकारी नहीं मिल पाई है। गांव वाले लगातार दुआ कर रहे हैं कि उनके अपने सही सलामत वापस लौट आएं।
प्रशासन से मांग – सर्च ऑपरेशन तेज हो
लापता मजदूरों के परिजनों ने प्रशासन से मांग की है कि तलाश अभियान को और तेज किया जाए, ताकि लापता लोगों का जल्द पता चल सके।