नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने 2006 के बहुचर्चित निठारी हत्याकांड (Nithari Murder Case) में सुरेंद्र कोली को बरी करने के इलाहाबाद हाई कोर्ट के फैसले को चुनौती देने वाली सीबीआई की याचिका पर सुनवाई के लिए सोमवार को अपनी सहमति जताई। जस्टिस बीआर गवई और जस्टिस केवी विश्वनाथन की पीठ ने हाईकोर्ट के 16 अक्टूबर, 2023 के फैसले के खिलाफ सीबीआई की अलग-अलग याचिकाओं पर कोली से जवाब मांगा।
शीर्ष कोर्ट ने मई में हाईकोर्ट के आदेश को चुनौती देने वाले एक पीड़ित के पिता की याचिका पर सुनवाई के लिए सहमति जताई थी। पीठ ने कहा कि सीबीआई की याचिकाएं उक्त याचिका के साथ सुनवाई के लिए आएंगी।
2006 में मिले थे बच्चों के कंकाल
राष्ट्रीय राजधानी से लगे नोएडा के निठारी में 29 दिसंबर, 2006 को एक घर के पीछे नाले से आठ बच्चों के कंकाल के अवशेष मिलने से सनसनी फैल गई थी। घर के आसपास इलाके में नालों की और खुदाई तथा तलाशी के दौरान और भी कंकाल मिले थे।
कोली को बताया सीरियल किलर
इनमें से अधिकतर कंकाल उन गरीब बच्चों और लड़कियों के थे, जो इलाके से लापता हुए थे। सीबीआई की ओर से पेश सालिसिटर जनरल (एसजी) तुषार मेहता ने सुप्रीम कोर्ट के समक्ष तर्क दिया कि कोली सीरियल किलर है जोकि छोटी लड़कियों को बहला-फुसलाकर उनकी हत्या करता था।
सुनाई थी मौत की सजा
हत्याओं को भयानक बताते हुए एसजी ने अदालत से कहा कि उस पर नरभक्षण के आरोप हैं और ट्रायल कोर्ट ने कोली को मौत की सजा सुनाई थी लेकिन इलाहाबाद हाईकोर्ट द्वारा ने इस फैसले को उलट दिया।