ग्रेटर नोएडा।
यशस्वी राज हत्याकांड की जांच अब क्राइम ब्रांच करेगी
दनकौर थाना क्षेत्र के अंतर्गत एक निजी विश्वविद्यालय में बीएससी सेकंड ईयर के छात्र की संदिग्ध परिस्थिति में मौत हो गई थी जिसके बाद उसके परिजनों ने छात्र के दोस्तों पर हत्या का शक जाहिर करते हुए पुलिस से शिकायत की थी।
पुलिस अपनी जांच में अभी तक हत्या का खुलासा नहीं कर पाई जिसको लेकर परिजन पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठा रहे हैं उनका कहना है कि पुलिस ने सही तरीके से जांच नहीं की जिसके कारण हत्या का खुलासा नहीं हो पाया है।
परिजनों ने पुलिस कमिश्नर से मिलकर क्राइम ब्रांच से जांच की गुहार लगाई जिसके बाद छात्र के हत्या के मामले की जांच अब क्राइम ब्रांच को सौंपी गई है।
दरअसल, दनकौर स्थित एक निजी विश्वविद्यालय में बिहार के पटना निवासी यशस्वी राज बीएससी सेकंड ईयर की पढ़ाई कर रहा था।
12 अक्टूबर 2022 की शाम को उसकी मां अरुणा सिन्हा जब उससे फोन पर बात कर रही थी तभी अचानक फोन कट गया और उसके बाद फोन पर बात नहीं हो पाई।
परिजनों ने उसके दोस्तों को कई बार कॉल की लेकिन किसी भी दोस्त ने कोई जवाब नहीं दिया। जिसके बाद परिजन दनकौर थाना पहुंचे और उन्होंने उसके दोस्तों पर हत्या का शक जाहिर करते हुए पुलिस से शिकायत की। पुलिस ने मामले की जांच शुरू की और 14 अक्टूबर 2022 को विश्वविद्यालय से 500 मीटर की दूरी पर नाले में यशस्वी राज का शव मिला।
जिसके बाद परिजनों ने उसके दोस्तों पर हत्या का शक जाहिर करते हुए पुलिस से शिकायत की। परिजनों का आरोप है कि न तो पुलिस ने उसके दोस्तों पर हत्या का मामला दर्ज किया और न ही कड़ाई से पूछताछ की अगर पुलिस कड़ाई से पूछताछ करती तो हत्या का खुलासा हो जाता।
मृतक छात्र यशस्वी राज की हत्या के कई महीने बीत जाने के बाद भी पुलिस उसका खुलासा नहीं कर पाई। पुलिस की कार्यशैली से परिजन असंतुष्ट है जिसके बाद उन्होंने 27 मार्च 2023 को पुलिस कमिश्नर लक्ष्मी सिंह से मुलाकात की।
जिसमें मृतक छात्र की मां अरुणा सिन्हा ने पुलिस द्वारा की गई जांच में सकारात्मक परिणाम नहीं दिए जाने के कारण असंतुष्ट होते हुए जांच को क्राइम ब्रांच से कराने का अनुरोध किया जिसके बाद पुलिस कमिश्नर लक्ष्मी सिंह ने मृतक छात्र की मां के अनुरोध को देखते हुए यशस्वी राज की जांच क्राइम ब्रांच गौतमबुधनगर को सौंप दी है।
अब छात्र की मौत के मामले की जांच डीसीपी क्राइम ब्रांच गौतम बुध नगर करेंगे।
परिजनों के सवालों का पुलिस नहीं दे पाई जवाब
यशस्वी राज की हत्या के मामले में पुलिस द्वारा की गई जांच से परिवार संतुष्ट नहीं है उन्होंने पुलिस को बताया कि उनके कई ऐसे सवाल हैं जिनका पुलिस जवाब नहीं दे पाई।
उन्होंने कहा कि जब यशस्वी राज अपने दोस्तों के साथ पार्टी करने गया था तो उसके दोस्त उसे अकेला छोड़कर वापस क्यों आ गए और यदि यशस्वी राज नाले में गिर कर पानी में डूब रहा था तो उसके दोस्तों ने उसे बचाने का प्रयास क्यों नहीं किया।
इसके साथ ही परिजनों ने बताया कि यदि यशस्वी राज के साथ कोई घटना घट गई थी तो उसके दोस्तों ने पुलिस या विश्वविद्यालय प्रबंधक को इसकी जानकारी क्यों नहीं दी। यशस्वी राज से बात करते समय उसकी मां का फोन अचानक से कट गया जिसके बाद उसने सभी दोस्तों के पास कॉल की लेकिन किसी भी दोस्त ने फोन क्यों नहीं उठाया।
परिजनों का कहना है कि नामजद शिकायत देने के बाद भी पुलिस ने यशस्वी राज के दोस्तों के खिलाफ मामला क्यों दर्ज नहीं किया वहीं जब हॉस्टल में जाकर परिजनों ने पूछताछ की तो वार्डन के सामने भी उसके दोस्त परिजनों से मिलने क्यों नहीं आए…
ऐसे ही कई सवालों के जवाब पुलिस परिजनों को नहीं दे पाई इसलिए पुलिस की जांच से परिजन असंतुष्ट है।
पुलिस कमिश्नर का परिजनों ने जताया आभार
यशस्वी राज की हत्या के मामले में कई महीने बीत जाने के बाद भी पुलिस के द्वारा खुलासा नहीं किया गया जिससे पुलिस की कार्यशैली से परिजन संतुष्ट नहीं है। मृतक छात्र की मां अरुणा सिन्हा सहित उनके कई परिजनों ने नोएडा पुलिस कमिश्नर लक्ष्मी सिंह से मुलाकात की और उन्होंने छात्र की हत्या के मामले की उच्च स्तरीय जांच क्राइम ब्रांच से कराने का अनुरोध किया।
अरुणा सिन्हा ने बताया कि पुलिस कमिश्नर ने उनके अनुरोध को स्वीकार करते हुए मामले की जांच डीसीपी क्राइम ब्रांच को सौंप दी है इसके लिए परिवार ने कमिश्नर लक्ष्मी सिंह का आभार जताया है।