लखनऊ पुलिस को मानव तस्करी के एक बड़े गिरोह का भंडाफोड़ किया है. इस गिरोह से जुड़े दो तस्करों को गिरफ्तार किया गया है. इसी के साथ पुलिस ने उनके कब्जे से दो नाबालिग लड़कियों को बरामद किया है. इस पूरे मामले में चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं. पुलिस का कहना है कि मासूम लड़कियों को बहला-फुसलाकर उनका ब्रेनवॉश किया गया और पैसों लेकर उन्हें बेच दिया गया.
आरोपियों के कब्जे से बरामद की गई एक लड़की 16 साल की है. वह वृंदावन के एक फेमस संत की भक्त है और उनसे मिलने जाने वाली थी. इसी दौरान आरोपियों ने उसका ब्रेनवॉश कर अपहरण कर लिया और बाद में उसे 50 हजार रुपये में बेच दिया गया. पुलिस का कहना है कि यह गैंग अब तक करीब 15 लड़कियों को इस तरह बेच चुका है और उन्हें जबरन शादी या अन्य गलत मकसद से राजस्थान और हरियाणा भेजा गया.
डीसीपी साउथ निपुण अग्रवाल ने बताया कि 30 जून को कृष्णानगर इलाके से 16 वर्षीय लड़की घर से बिना बताए कहीं चली गई थी. चारबाग रेलवे स्टेशन पर लड़की को परेशान देखकर संतोष साहू नाम के आरोपी ने उससे बातचीत शुरू की और उसे यह भरोसा दिलाया कि वह उसे वृंदावन के संत से मिलवाएगा.
संतोष ने नाबालिग को अपने साथ चलने के लिए राजी कर लिया, लेकिन जब लड़की को असली मंशा का आभास हुआ तो उसने चीखना-चिल्लाना शुरू कर दिया और मनीष के साथ जाने से साफ इनकार कर दिया. इसके बाद मनीष ने लड़की को वापस कर दिया और संतोष से 45 हजार रुपये भी वापस ले लिए. इसके बाद संतोष लड़की को लेकर लखनऊ आया और मानक नगर रेलवे स्टेशन पर छोड़कर फरार हो गया. यहीं से पुलिस ने लड़की को सुरक्षित बरामद कर लिया.
इस बीच नाबालिग के परिवार ने थाने में गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी. पुलिस ने उसकी तलाश के लिए छह टीमें गठित की थीं. लड़की की बरामदगी के बाद आरोपियों की तलाश जारी थी. गुरुवार को पुलिस की सर्विलांस टीम को जानकारी मिली कि आरोपी अवध चौराहे के पास हैं, जिसके बाद दोनों को गिरफ्तार कर लिया गया.
पुलिस के द्वारा की गई पूछताछ में दोनों आरोपियों ने कबूल किया कि वे रायबरेली से भी एक और नाबालिग लड़की को बहला-फुसलाकर लाए हैं. पुलिस ने एक होटल से उस लड़की को भी बरामद कर लिया. जांच में खुलासा हुआ कि संतोष साहू साल 2012 से मासूम लड़कियों को प्रेमजाल में फंसाता था और फिर मनीष भंडारी को बेच देता था. मनीष इन लड़कियों को 50 हजार रुपये में खरीदता और फिर उन्हें राजस्थान व हरियाणा में जबरन शादी के लिए बेच देता था. पुलिस अब इस गैंग के पूरे नेटवर्क की जांच में जुटी है.